नोम पेन्ह। कंबोडिया में फर्जी एजेंटों के माध्यम से नौकरी का झांसा देकर फंसाए गए 67 भारतीय नागरिकों को बचाया गया है। कंबोडिया के नोम पेन्ह स्थित भारतीय दूतावास ने बुधवार को बताया कि उसने देश के पोइपेट से 67 भारतीय नागरिकों को बचाया है, जिन्हें साइबर अपराध में शामिल फर्जी एजेंटों ने नौकरी का झांसा देकर फंसाया था।
दूतावास ने एक बयान में कहा कि वह फर्जी एजेंटों के नौकरी के झांसे में फंसे भारतीय नागरिकों को बचाने और वापस लाने में सक्रिय रूप से लगा हुआ है। दूतावास के अधिकारियों की एक टीम इस प्रक्रिया की देखरेख कर रही है। साथ ही बचाए गए नागरिकों की सुचारू रूप से वतन वापसी के लिए स्टाफ के सदस्य हवाई अड्डे पर तैनात हैं।
दूतावास की ओर से सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर साझा की गई जानकारी के अनुसार, इनमें से 15 भारतीय नागरिक हाल ही 30 सितंबर को स्वदेश लौटे हैं, जिसके बाद 1 अक्टूबर को 24 और लोग भी स्वदेश लौट गए हैं। शेष 28 व्यक्तियों के आने वाले दिनों में भारत पहुंचने की उम्मीद है। भारतीय दूतावास स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहा है और ऐसे साइबर अपराध में फंसे अपने नागरिकों की सहायता करने के लिए प्रतिबद्ध है।
दूतावास ने कहा कि वह साइबर अपराधों में फंसे अपने नागरिकों की मदद करने के लिए प्रतिबद्ध है और इसने भारतीय नागरिकों को संदिग्ध एजेंटों और सोशल मीडिया विज्ञापनों के माध्यम से कंबोडिया और अन्य दक्षिण-पूर्व एशियाई देशों में नौकरी के अवसर लेने में अत्यधिक सावधानी बरतने की सलाह दी है। दूतावास ने ऐसी गतिविधियों में फंसे लोगों और भारत लौटने की इच्छा रखने वाले लोगों के लिए आपातकालीन संपर्क नंबर +85592881676 जारी करने के अलावा ईमेल के जरिए भी संपर्क करने को कहा है।
(रिपोर्ट. शाश्वत तिवारी)